मुंबई : अगर आपके घर के पास भी कोई मंदिर, मिल या मोहल्ला DJ दिन-रात धुनें बजा रहा है और आपके सिर में ‘ढम-ढम’ हो रही है, तो सुन लीजिए – शिकायत करने की गलती मत कीजिए! वरना बीड जिले के सांगांव गांव की महिला वकील ज्ञानेश्वरी अंजन की कहानी आपकी अगली ट्रैजिक इंस्पिरेशन बन सकती है।
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क्या किया था वकील ने?
बस इतनी सी जुर्रत की कि मंदिर से आने वाले अवैध लाउडस्पीकरों और मिलों की तेज़ आवाज़ से हो रहे माइग्रेन की शिकायत पुलिस में कर दी। फिर क्या था? गांव के सरपंच और उनके “कर्मठ सहयोगियों” ने लोकतंत्र का सीधा इस्तेमाल किया — लोहे की पाइप और डंडों से।
पीट-पीटकर महिला वकील की पीठ पर ऐसे निशान बनाए कि सोशल मीडिया पर वायरल हो गए। इंसाफ की देवी की आंखों पर पट्टी थी, लेकिन पीड़िता की आंखें तो खुली थीं – और पूरे सिस्टम की भी।
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पुलिस क्या कर रही है?
बिलकुल वही जो ऐसे मामलों में अक्सर करती है — “जांच जारी है, आरोपी फरार हैं।”
सरपंच की स्टाइल
लोकतंत्र का नया फॉर्मूला अब गांवों में खुलकर चल रहा है: “अगर कोई बोलेगा, तो उसे चुप करा देंगे — और वो भी पाइप से।”
ज्ञानेश्वरी ने बताया कि हमलावर उनके घर घुस आए, मोबाइल छीन लिया और सबूत मिटा दिए। ऊपर से धमकी दी – “लाउडस्पीकर की बात फिर की, तो अगली बार आवाज़ भी नहीं निकलेगी।“
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हमारी सलाह
अगर आप भी लाउडस्पीकर, आटा मिल, DJ या “नए इंडिया” की किसी भी आवाज़ से परेशान हैं, तो Earplugs खरीदिए… और इंसाफ की उम्मीद छोड़ दीजिए। क्योंकि यहाँ आवाज़ कम करने की कोशिश में, आपकी ही आवाज़ बंद कर दी जाती है।