
भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इन दिनों पांच देशों के विदेश दौरे पर हैं। इस दौरान गुरुवार को उन्होंने घाना की संसद को संबोधित किया और भारत के लोकतंत्र की विविधता और विशालता को लेकर ऐसी बातें कहीं कि वहां के सांसद भी हैरान रह गए।
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2500 राजनीतिक दलों की बात सुनकर दंग रह गए सांसद
पीएम मोदी ने जब अपने भाषण में बताया कि भारत में 2500 से अधिक राजनीतिक दल पंजीकृत हैं, तो घाना की संसद में मौजूद सांसद एक-दूसरे का चेहरा देखने लगे। इस पर खुद पीएम मोदी भी मुस्कुरा दिए और उन्होंने यह आंकड़ा दोहराया।
भाषाओं और बोलियों की विविधता से चकित हुआ घाना
प्रधानमंत्री मोदी ने आगे बताया कि भारत में 22 आधिकारिक भाषाएं और हजारों क्षेत्रीय बोलियां बोली जाती हैं। उन्होंने कहा कि भारत की यही विविधता उसे एक सशक्त लोकतंत्र बनाती है जहां हर विचार, हर संस्कृति को जगह मिलती है।
20 पार्टियां चला रही हैं राज्य सरकारें
मोदी ने बताया कि भारत में लगभग 20 अलग-अलग राजनीतिक दल राज्य सरकारों का संचालन कर रहे हैं। यह दर्शाता है कि लोकतंत्र केवल चुनाव तक सीमित नहीं है, बल्कि यह देश की राजनीतिक और सामाजिक संरचना का अभिन्न हिस्सा है।
ऋग्वेद और वैशाली का दिया संदर्भ
पीएम मोदी ने अपने संबोधन में भारत की प्राचीन सभ्यता और विचारधारा का भी उल्लेख किया। उन्होंने वैशाली, जो दुनिया का पहला गणराज्य माना जाता है, और ऋग्वेद के श्लोक “भद्रं नो भद्राः क्रतवो यन्तु विश्वतः…” का पाठ करते हुए भारत की सहिष्णुता और वैश्विक सोच को रेखांकित किया।
“घाना की संसद को सम्मानित कर, खुद को सम्मानित महसूस कर रहा हूं”
अपने भाषण की शुरुआत में पीएम मोदी ने कहा,”मैं घाना गणराज्य की संसद को संबोधित करके बहुत सम्मानित महसूस कर रहा हूं। यह भूमि लोकतंत्र की भावना को जीवंत करती है।”
सोशल मीडिया पर ट्रेंड हो रही है मोदी की स्पीच
मोदी का यह संबोधन सोशल मीडिया पर भी ट्रेंड कर रहा है।
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