भसड़ यानी “जहाँ कोई बात शुरू हो और फिर बात नहीं बचती।” भारत की गलियों, कॉलेज कैंपसों, न्यूज डिबेट्स, व्हाट्सएप ग्रुप और संसद के गलियारे तक — भसड़ एक राष्ट्रीय भावना है। आपने कभी सुना होगा: “तू चुप रह, यहाँ भसड़ मत कर।” “यार, मीटिंग में भसड़ मच गई।” पाकिस्तान का “ड्रामा बम”: 5 भारतीय लड़ाकू विमान गिराने का दावा, सबूत ‘गैर-हाज़िर’ भसड़ की परिभाषा: भसड़ = बहस × बवाल ÷ उद्देश्य जहाँ कोई मुद्दा इतना बिगड़ जाए कि लोग आपस में ही टूट पड़ें और मूल विषय कब का हवा हो जाए…
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फेफड़े फूंके, लीवर डुबोए… और बोले – पाकिस्तान को सबक सिखाएंगे!
आजकल देशभक्ति का आलम ये है कि पान की दुकान के बाहर खड़े कुछ ‘राष्ट्रवादी योद्धा’ आधे घंटे में 4 बीड़ी या सिगरेट पीते हैं, गालों में पान मसाला दबाते हैं और फिर गला खंखारते हुए बोलते हैं – “भाई, पाकिस्तान को तो नष्ट कर देना चाहिए!” इनके मुताबिक लड़ाई अब टीवी डिबेट्स, व्हाट्सएप फॉरवर्ड्स और इंस्टाग्राम स्टोरी से लड़ी जाती है। बॉर्डर पर नहीं, बल्कि बालकनी में। पहलगाम पर पलटवार का प्लान तैयार! मोदी सरकार का “मास्टरस्ट्रोक” – NSA बोर्ड में बड़ा फेरबदल देशभक्ति का नया कॉम्बो: लंगोटिया दोस्त:…
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