सेना को फ्री हैंड मिलता… पाकिस्तान में तिरंगा, और भारत में गर्मा-गर्म सियासत

अजमल शाह
अजमल शाह

समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ विधायक रविदास मेहरोत्रा ने लखनऊ में मीडिया से बातचीत करते हुए केंद्र सरकार और बीजेपी पर जमकर हमला बोला।
उनका सबसे वायरल बयान— “अगर सेना को खुली छूट मिल जाए, तो आज पाकिस्तान के हर शहर में तिरंगा लहरा रहा होता!”

यह बयान सुनकर सियासी गलियारों में चाय-पकौड़े और चर्चाएं दोनों तेजी से गर्म हो गए।

“सेना दमदार, सरकार कमजोर”—Political Explosive 2.0

मेहरोत्रा ने दावा किया कि भारतीय सेना दुनिया की सबसे बहादुर सेनाओं में से है, लेकिन केंद्र की ‘कमजोर नीति’ उसकी ताकत को बाँध देती है।
उन्होंने तंज कसा— “सरकार अंतरराष्ट्रीय दबाव के आगे घुटने टेक देती है।”

उन्होंने याद दिलाया कि भारतीय सेना ने एक बार में 9 आतंकी ठिकाने ध्वस्त किए थे, पर अमेरिका के युद्धविराम के बाद सब ठंडा पड़ गया।

नीतीश कुमार को Advice Mode ON

बात करते-करते विधायक जी अचानक बिहार पहुँच गए—वक्तव्य में। उन्होंने नीतीश कुमार को फिर से CM बनने पर बधाई दी और कहा कि महिला रोजगार योजना को किसी कीमत पर बंद नहीं होना चाहिए।
साथ ही सलाह दी— “जनता से किए वादों को पूरा करिए, नहीं तो जनता आपको पूरा कर देगी… वोटों में!”

BJP पर हमला: “आधे से ज्यादा विधायक अपराधी!”

मेहरोत्रा यहीं नहीं रुके। उन्होंने बीजेपी पर सीधा आरोप लगाया कि पार्टी में “आधे से ज्यादा विधायक अपराधी” हैं। उन्होंने UP सरकार से मांग की कि राज्य के टॉप 20 अपराधियों की लिस्ट सार्वजनिक की जाए। हरदोई के हालिया हादसे में बच्चों के घायल होने पर उन्होंने सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए न्यायिक जांच की मांग भी कर डाली।

महाराष्ट्र चुनाव—सपा का मूड: “नहीं मिली सीटें? हम अकेले लड़ेंगे”

अबू आजमी के बयान पर मेहरोत्रा ने साफ किया कि महागठबंधन सिर्फ लोकसभा-विधानसभा तक सीमित था। BMC, नगर निकाय और पंचायत चुनावों में सपा सोलो प्लेयर बनने को तैयार है। उन्होंने बताया कि बिहार चुनाव में महागठबंधन ने SP को एक सीट तक नहीं दी,
फिर भी अखिलेश यादव ने 26 रैलियां कर ली थीं। सीधे शब्दों में, “सीटें नहीं दीं? No problem. हम अकेले लड़ेंगे!”

EVM पर फिर सवाल: “अमेरिका नहीं इस्तेमाल करता, तो हम क्यों?”

मेहरोत्रा ने ईवीएम को लेकर चुनाव आयोग पर सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि SIR जैसे नियम बिना विपक्ष से चर्चा के लागू कर दिए गए।
उनका बयान— “अमेरिका जैसे देश में भी EVM नहीं, तो भारत में क्यों?”

EVM विवाद अब फिर से आग पकड़ता दिख रहा है।

बसपा पर भी वार: “नेताओं को कुर्सी नहीं, जमीन मिलती थी”

उन्होंने बसपा और मायावती पर भी तंज कसा। दावा किया कि पार्टी में सम्मान नहीं मिलता और टिकट पैसे के बिना नहीं मिलता था।
उनके तंज ने सोशल मीडिया में हलचल मचा दी— “मायावती जी के समय एक कुर्सी सिर्फ उन्हीं के लिए होती थी… बाकी नेता नीचे।”

उन्होंने आरोप लगाया कि अब बसपा बीजेपी की “B टीम” की तरह काम कर रही है।

UP में सियासत गरम: चुनावी मौसम शुरू होने वाला है?

सपा विधायक के इन बयानों ने उत्तर प्रदेश की सियासत में नई ऊर्जा और नई गर्मी भर दी है। अब देखना होगा कि यह बयानबाज़ी चुनावी समीकरणों को गर्म करेगी, गड्ढा करेगी, या गोल-मोल करेगी… लेकिन एक बात तय है— राजनीति के मंच पर तनाव और तमाशा दोनों बढ़ने वाला है।

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