
अमेरिका में भारत के राजदूत विनय क्वात्रा ने गुरुवार को इंटरव्यू में स्पष्ट किया कि भारत किसी युद्ध में नहीं, बल्कि ‘आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई’ में शामिल है।
जम्मू ड्रोन हमले के बाद स्थिति का जायजा लेने जा रहा हूं”: उमर
उन्होंने कहा:
“भारत सिर्फ़ उन कार्रवाइयों का जवाब दे रहा है जो पाकिस्तान से प्रशिक्षित आतंकवादियों द्वारा की जा रही हैं। हम पाकिस्तान के खिलाफ नहीं, आतंकवाद के खिलाफ लड़ रहे हैं।”
पहलवान हमला बना बिंदु, लश्कर-ए-तैयबा पर ठोस आरोप
भारत ने जम्मू-कश्मीर के 22 अप्रैल के पहलगाम हमले को लश्कर-ए-तैयबा से जुड़े पाकिस्तान प्रशिक्षित आतंकवादियों की साजिश बताया है, जिसमें 26 निर्दोष नागरिकों की मौत हुई थी।
भारत ने इसके जवाब में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत पाकिस्तान और POK में आतंकी ठिकानों पर हमला किया।
परमाणु युद्ध की आशंका? – “ये सवाल पाकिस्तान से पूछिए”: क्वात्रा
पूछे गए सवाल पर कि क्या यह टकराव परमाणु युद्ध में बदल सकता है, विनय क्वात्रा ने जवाब दिया:
“ये सवाल पाकिस्तान से पूछा जाना चाहिए। भारत कभी पहले हमला नहीं करता, लेकिन अपनी सुरक्षा से समझौता भी नहीं करता।”
साफ-सुथरी कूटनीति, अमेरिका को दिया भरोसा
क्वात्रा ने अमेरिका और अंतरराष्ट्रीय समुदाय को यह भरोसा दिलाया कि भारत शांति का समर्थक है, लेकिन आतंकवाद पर चुप नहीं बैठेगा।
“हम शांति चाहते हैं, लेकिन अगर निर्दोष लोगों की जान ली जाती है, तो हम जवाब जरूर देंगे — और जवाब निर्णायक होगा।”
आतंकवाद के खिलाफ निर्णायक लड़ाई का वैश्विक संदेश
भारत ने राजनयिक मोर्चे पर भी यह स्पष्ट कर दिया है कि उसका उद्देश्य पाकिस्तान से लड़ना नहीं बल्कि आतंकवाद को जड़ से खत्म करना है। विनय क्वात्रा का यह बयान एक दृढ़, संयमित और वैश्विक स्तर पर सामरिक सोच को दर्शाता है।