हर पांच बरिस पर नेताजी लोग गांव के पगडंडी नापे लागेलें, पर इ बार जनता भी सवाल लेके खड़ी बा – “अबकी बार हमनी के जिनगी सुधरी कि फेरु उहे वादा-बाजी?” आरजेडी के बदलल रूप: लालू के पार्टी से तेजस्वी के सपना तेजस्वी यादव अब केवल यादव-मुस्लिम वोट बैंक के नेता ना रह गइलें। उ बेरोजगारन से लेके पढ़े वाली लड़िकियन, खेतीहर किसान से लेके पलायन से परेशान जवान तक सबके मन के बात करत बाड़न। “10 लाख रोजगार” वाला नारा अब गांव में सिरिफ पोस्टर पर ना, बलुक चाय…
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