
लखनऊ के कैसरबाग थाना क्षेत्र की भीड़भाड़ वाली मछली मंडी मंगलवार को एक भयानक हादसे की गवाह बनी। लगभग 150 साल पुराना पीपल का विशाल पेड़ अचानक गिर पड़ा।
प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक, ये हादसा इतना जबरदस्त था कि पूरे इलाके में अफरा-तफरी मच गई। पेड़ के नीचे कई लोग दब गए, दो घर बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गए।
पुलिस, फायर ब्रिगेड और नगर निगम अलर्ट
पेड़ गिरने की सूचना मिलते ही कैसरबाग पुलिस, दमकल विभाग और नगर निगम की टीम फौरन मौके पर पहुंची। लगभग 100 से ज्यादा पुलिसकर्मी रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटे।
टीमें पेड़ की डालें काट-काटकर दबे लोगों को निकाल रही थीं। स्थानीय लोगों ने भी राहत कार्य में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया।
1 की मौत, 4 घायल – अस्पताल में भर्ती
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मृतक: रामू (60 वर्ष), त्रिवेणी नगर निवासी
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घायल:
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रिज़वान (22)
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शोएब (22)
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अभिषेक (32)
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मोहम्मद अरमान (30)
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सभी घायलों को बलरामपुर अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां वे फिलहाल खतरे से बाहर हैं।
DM और डिप्टी सीएम मौके पर, होगी जांच
घटना की सूचना मिलते ही लखनऊ के DM विशाख जी और डिप्टी सीएम बृजेश पाठक मौके पर पहुंचे। उन्होंने पीड़ितों से मुलाकात कर त्वरित मदद का आश्वासन दिया।

डिप्टी सीएम ने कहा:
“इस पेड़ को लेकर पूर्व में भी चेतावनी दी गई थी। लापरवाही सामने आई है। उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए गए हैं।”
“हटवा देते तो हादसा नहीं होता!” – विधायक Vs मेयर भिड़े
घटना के बाद मौके पर सपा विधायक और लखनऊ के मेयर के बीच तीखी बहस हो गई। विधायक बोले:
“अगर समय पर पेड़ कटवा दिया होता, तो ये हादसा नहीं होता!“
लोगों ने बताया कि इस पेड़ को लेकर कई बार प्रशासन को चेतावनी दी गई थी, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई।
क्यों हुआ हादसा?
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पीपल का पेड़ बहुत पुराना था
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लगातार बारिश और मिट्टी की ढील ने पेड़ को कमजोर किया
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भारी वजन के कारण अचानक गिर पड़ा
हादसा रोका जा सकता था!
यह हादसा साफ प्रशासनिक लापरवाही का नतीजा माना जा रहा है। अगर समय रहते पेड़ को हटाया गया होता, तो एक जान बचाई जा सकती थी।
अब देखना ये है कि जांच के बाद कौन जिम्मेदार ठहराया जाएगा, और क्या भविष्य में ऐसे पुराने पेड़ों की समय पर जांच की व्यवस्था होगी या नहीं।
मॉडिफाई अतिथि देवो भवः- अतिथि अगर ड्रग्स लाए, तो सीधा डिपोर्ट हो जाए
