
हर साल जब 15 अगस्त आता है, पूरा देश तिरंगे के रंग में रंग जाता है। स्कूलों से लेकर ऑफिस तक, कार-बाइक से लेकर कॉलोनी के गेट तक – हर जगह तिरंगा। लोगों के चेहरे पर गर्व होता है, Instagram पर #ProudIndian ट्रेंड करता है।
लेकिन 16 अगस्त को तिरंगा नालियों में क्यों?
अब यही देखिए — 16 अगस्त की सुबह, जो तिरंगा कल शान से हवा में उड़ रहा था, वो आज कूड़े के ढेर में, बारिश में भीगा हुआ, गंदा और कुचला पड़ा होता है। ऐसा लगने लगता है कि देशभक्ति एक दिन का इवेंट बनकर रह गया है।
“तिरंगा सिर्फ फोटो के लिए नहीं, सम्मान के लिए है।”
तिरंगे को फेंकना नहीं, सम्मान से निपटाना होता है
भारत सरकार की Flag Code of India (झंडा संहिता) के अनुसार:
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तिरंगे को ज़मीन पर गिराना, फाड़ना, जलाना या कूड़े में डालना – ये सब अपराध हैं।
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अगर झंडा फट गया या गंदा हो गया है, तो उसे सम्मानपूर्वक एकांत में जलाकर नष्ट किया जा सकता है।
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अगर झंडा ठीक-ठाक है, तो उसे साफ और सुरक्षित स्थान पर फोल्ड करके रखा जाना चाहिए।
“हर घर तिरंगा” से पहले “हर मन में सम्मान” ज़रूरी
हर घर तिरंगा अभियान देश में गर्व की लहर लाया है। लेकिन अगर वही तिरंगा दूसरे दिन उपेक्षित पड़े मिले, तो वो अभियान आस्था नहीं, औपचारिकता बनकर रह जाएगा।
देशभक्ति का मतलब सिर्फ झंडा उठाना नहीं, उसे सही से उतारना भी है।
तिरंगे को फेंकें नहीं, ऐसे करें सही डिस्पोज़
स्थिति | क्या करें |
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तिरंगा गंदा/फटा | एकांत में विधिपूर्वक जलाएं |
तिरंगा सही है | फोल्ड करके सहेजकर रखें |
प्लास्टिक का झंडा | बिलकुल न खरीदें (Flag Code के खिलाफ) |
सोशल मीडिया से बाहर आकर असली सम्मान दिखाइए
15 अगस्त को Insta Story में “Feeling Patriotic” लिखकर तिरंगे की फोटो लगाना आसान है, पर 16 अगस्त को उसी झंडे का सम्मान बचाकर रखना सच्ची देशभक्ति है।
देश को गर्व तब होगा, जब झंडा हर दिन सम्मानित रहेगा
तिरंगा सिर्फ उत्सव का हिस्सा नहीं है, वो देश की आत्मा का प्रतीक है। अगर हम उसे फ्लैग डे के बाद कूड़े में पाएं, तो समझ जाइए –
हमने देशभक्ति को “यूज़ एंड थ्रो” बना दिया है।