
उत्तर प्रदेश की स्पेशल टास्क फोर्स (STF) ने रविवार को लखनऊ के गोमतीनगर विस्तार के उजरियाव गांव में जब धावा बोला तो मकान के अंदर से बरामद हुआ ज़हर देखकर अफसरों के भी होश उड़ गए।
यहां महीनों से चल रही थी नकली ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन फैक्ट्री, जिसमें चीन से मंगाए गए पाउडर से “जहर का कारोबार” किया जा रहा था।
फिनायल, विनेगर और नमक से बन रहा था ‘दूध बढ़ाने वाला जहर’
एसटीएफ के डीएसपी दीपक सिंह के मुताबिक गिरोह का सरगना कयूम अली (बागपत) चीन से पाउडर मंगवाकर फिनायल, यूरिया, नमक और विनेगर में मिलाकर नकली ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन तैयार करता था।
इन जहरीले इंजेक्शनों को एजेंटों के जरिए डेयरी मालिकों, सब्जी विक्रेताओं और किसानों तक पहुंचाया जा रहा था — ताकि गाय का दूध ज्यादा निकले और सब्जियां चमकदार दिखें।
‘मुनाफा लाखों में, लेकिन मौत भी साथ में’ — STF
कयूम और उसके साथी मोहम्मद इब्राहिम को गिरफ्तार किया गया है, जबकि मकान मालिक गौसुल हसन फरार है। बरामद सामान की कीमत करीब ₹1 करोड़ बताई जा रही है।
मौके से 1000 से ज्यादा तैयार इंजेक्शन शीशियां, 70 लीटर ऑक्सीटोसिन, हजारों खाली बोतलें, कैप, सीलिंग मशीन और केमिकल बरामद हुए हैं।
ज़हर से भरा दूध और सब्जियां: STF की हेल्थ वार्निंग
डीएसपी दीपक सिंह ने चेतावनी दी — “इन इंजेक्शनों से तैयार दूध और सब्जियां खाने से कैंसर, हार्मोन असंतुलन और बांझपन जैसी बीमारियां फैल सकती हैं।”
बच्चों और गर्भवती महिलाओं के लिए यह जहर और भी जानलेवा है। अब STF पूरे नेटवर्क की पड़ताल कर रही है — किसने खरीदा, किसे सप्लाई हुई और पैसा कहां गया?

जांच में खुलासा – गाजियाबाद से लखनऊ, फिर बिहार और दिल्ली तक फैला नेटवर्क
गिरोह का नेटवर्क कई राज्यों में फैला हुआ था। चीन से मंगाया गया पाउडर पहले गाजियाबाद के लोनी कटरा में पहुंचता, फिर वहां से लखनऊ और उसके बाद बिहार, दिल्ली और यूपी के ग्रामीण इलाकों में इसकी सप्लाई होती थी।
अगर आप सोच रहे हैं कि दूध ज्यादा सफेद कैसे दिखने लगा या भिंडी पहले से ज्यादा चमक रही है — तो जनाब, यह कुदरत नहीं, केमिस्ट्री का कमाल है!
STF की सख्त चेतावनी:
अब यह मामला सिर्फ नकली इंजेक्शन का नहीं, बल्कि सार्वजनिक स्वास्थ्य सुरक्षा का है। सरकार ने सभी जिलों में ड्रग इंस्पेक्टरों को चौकन्ना रहने और हर संदिग्ध डेयरी पर जांच के आदेश दिए हैं।
