
ब्रिटेन में बसे भारतवंशी उद्योगपति लॉर्ड स्वराज पॉल का गुरुवार शाम लंदन में 94 वर्ष की उम्र में निधन हो गया।
वह लंबे समय से अस्वस्थ थे और अस्पताल में भर्ती थे। अंतिम सांस उन्होंने अपने परिवार की मौजूदगी में ली।
उनका जन्म जालंधर, पंजाब में हुआ था और 1960 के दशक में वह अपनी बेटी अंबिका के इलाज के लिए यूके गए थे।
अंबिका के निधन के बाद उन्होंने समाज सेवा को अपना जीवन उद्देश्य बना लिया।
Ambika Paul Foundation: बेटी की याद में सेवा का संकल्प
बेटी की मौत के दर्द को उन्होंने समाजसेवा में बदला।
Ambika Paul Foundation की स्थापना कर उन्होंने दुनिया भर में बच्चों और युवाओं के लिए शिक्षा, स्वास्थ्य और कल्याण के क्षेत्रों में लाखों पाउंड दान किए।
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लंदन का चिल्ड्रन ज़ू इसका प्रमुख लाभार्थी रहा
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अंबिका को यह ज़ू बहुत पसंद था और यह संस्था आज भी उनकी स्मृति को जीवित रखती है
House of Lords और बिज़नेस की बुलंदियां
लॉर्ड पॉल सिर्फ एक उद्योगपति ही नहीं, बल्कि ब्रिटेन की संसद के ऊपरी सदन हाउस ऑफ लॉर्ड्स के सक्रिय सदस्य भी रहे।
उन्होंने Caparo Group of Industries की स्थापना की थी, जो स्टील और इंजीनियरिंग क्षेत्र की एक प्रमुख बहुराष्ट्रीय कंपनी है।
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कंपनी के 40+ केंद्र UK, भारत, नॉर्थ अमेरिका और मिडल ईस्ट में फैले हैं
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उनका नाम हर साल ‘Sunday Times Rich List’ में आता था
व्यक्तिगत क्षति: परिवार के साथ कई जख्म भी
लॉर्ड स्वराज पॉल का जीवन संघर्ष और सेवा का मिश्रण रहा।
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बेटी अंबिका की मृत्यु के बाद उन्होंने समाज सेवा को अपनाया
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2015 में बेटे अंगद पॉल का निधन

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2022 में पत्नी लेडी अरुणा पॉल का देहांत
इन सबके बावजूद, वह समाज और अपने व्यवसाय में सक्रिय रहे।
लेडी अरुणा स्वराज पॉल हॉल: पत्नी को समर्पण
फरवरी 2023 में उन्होंने लंदन के Indian Gymkhana Club में एक भव्य हॉल का उद्घाटन किया,
जिसे उन्होंने अपनी पत्नी के नाम समर्पित किया — Lady Aruna Swaraj Paul Hall।
उन्होंने कहा: “हमारे 65 वर्षों के वैवाहिक जीवन में कभी मतभेद नहीं हुआ।”
यह उनके निजी जीवन के मूल्यों को दर्शाता है — प्रेम, एकता और सम्मान।
Caparo Group: परिवार की अगली पीढ़ी के हाथों में विरासत
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Caparo India के चेयरमैन अब उनके बेटे आकाश पॉल हैं
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ग्रुप की अगुवाई अब नई पीढ़ी कर रही है, लेकिन लॉर्ड पॉल की विरासत हर इमारत, हर फाउंडेशन, और हर कर्मचारी में जिंदा है
एक प्रेरणास्रोत का अवसान
“जिन्होंने बेटी की स्मृति से बच्चों के लिए उजाला रचा, ऐसे लॉर्ड स्वराज पॉल सिर्फ उद्योगपति नहीं, इंसानियत के ब्रांड एंबेसडर थे।”
उनकी कहानी बताती है कि एक इंसान दुख को भी शक्ति में बदल सकता है, और सीमाओं के पार जाकर भी अपनी जड़ों से जुड़ा रह सकता है।
“गयाजी में मोदी-नीतीश की केमिस्ट्री और बिहार में विकास की बारिश!”
