रावण आएगा? सांसद को व्हाट्सऐप से खतरा

अजमल शाह
अजमल शाह

आज सुबह ही नगीना थाना क्षेत्र में हड़कंप मच गया जब सांसद चंद्रशेखर आजाद को व्हाट्सआप्प पर जान से मारने की धमकी मिलती है। धमकीकार ने सांसद को ‘रावण’ नाम से संबोधित करते हुए दस दिन में मारने की बात कही — जैसे कोई ओटीटी वेबसीरीज़ हो!

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पुलिस ने तुरंत दर्ज किया FIR

थाना प्रभारी तेजपाल सिंह ने बताया कि मामला पार्टी कार्यकर्ता शेख परवेज की लिखित शिकायत की वजह से सामने आया। पुलिस ने अज्ञात व्यक्ति पर मामला दर्ज कर जांच तेज़ कर दी है।

क्या थी धमकी की भाषा?

व्हाट्सऐप धमकी में शब्दों को देखा जाए, तो जैसे कोई ‘रावण इज़ बैक’ ट्रेलर हो —

“रावण दस दिन में आएगा, और फिर…”
इतने में ही सांसद और कार्यकर्ता चेतनावान हो गए और पुलिस तक मामला पहुँचा दिया।

पहली बार नहीं — दो साल पहले भी आई थी धमकी

सांसद आजाद को लगभग दो साल पहले गौरीगंज थाना क्षेत्र में भी सोशल मीडिया पर जान से मारने की धमकी मिली थी। उस समय पुलिस ने विमलेश नाम के व्यक्ति को पकड़कर मुकदमा दर्ज किया था।

आजादी के ‘रिटर्न ऑफ रावण’ एडिशन को देखते हुए, पुलिस अब पहले से अधिक सजग हो गई है।

क्या आगे होगा?

पुलिस जांच को तेज़ करने की बात कह रही है और सांसद की सुरक्षा बढ़ाने को तैयार है। लेकिन असली सवाल है — क्या “रावण” फिर आएगा, या फिर यह सिर्फ कथित इंसान-आउट-ऑफ-वॉट्सऐपेड सोर्‍ट ऑफ नाटक था?

शब्दों की दुनिया बेहद शक्तिशाली होती है — ये व्हाट्सएप पर एक “चेतावनी” से मामला तूल पकड़ सकता है, सांसद की ज़िंदगी खतरे में डाल सकता है, और कानून-व्यवस्था का अलार्म बजा सकता है।

तो अगली बार जब आप व्हाट्सऐप पर “मैं रावण हूँ” करते हुए कोई मज़ाक बनाएँ, एक बार ज़रूर सोचिए — कहीं आप भी नगीना थाना में FIR के चक्कर में न पड़ जाएं।

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