
मध्य प्रदेश के ग्वालियर में इन दिनों अम्बेडकर जी की प्रतिमा को लेकर गरमा-गरम माहौल है। विवाद कोर्ट परिसर में प्रतिमा लगाने को लेकर शुरू हुआ, लेकिन सोशल मीडिया पर चर्चाएं कुछ और ही ट्रैक पकड़ चुकी हैं — और वो हैं CSP हिना खान।
हां, वही अफसर, जिन्होंने “जय श्रीराम” का नारा लगाकर सबको चौंका दिया। मुस्लिम महिला अफसर + सनातन नारा + कानून की सख्ती = इंटरनेट तूफान!
CSP हिना खान: ‘सनातन विरोधी’ कहने पर दिया रामनाम से जवाब
मंगलवार को कोर्ट के बाहर माहौल तब बिगड़ा जब बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष अनिल मिश्रा ने CSP हिना खान को “सनातन विरोधी” कह दिया।
समर्थकों ने “जय श्रीराम” के नारे लगाने शुरू कर दिए, लेकिन भीड़ को शांत कराने आई अफसर ने खुद ही जय श्रीराम, जय श्रीराम, जय श्रीराम… बोलकर सबको चुप करा दिया।
राम को राजनीति से खींचकर ला रहे थे लोग, हिना ने उन्हें वापस ‘संविधान’ में बिठा दिया!
सोशल मीडिया पर तारीफों की बरसात
कुछ सेकंड में यह वीडियो पूरे इंटरनेट पर छा गया। किसी ने कहा – “ये हैं असली धर्मनिरपेक्षता की मिसाल” तो किसी ने लिखा – “कानून की वर्दी जब मज़हब से बड़ी हो जाए, तभी देश चलता है!”
हिना खान का जवाब: ‘धर्म की नहीं, ड्यूटी की बात है’
जब मीडिया ने पूछा कि आपने जय श्रीराम क्यों बोला, तो उन्होंने बेहद शांत स्वर में कहा:
“अगर कोई मुझ पर दबाव बनाने के लिए नारे लगाएगा, तो मैं भी वही करूंगी। मेरा काम कानून-व्यवस्था संभालना है, राजनीति नहीं।”
इस बयान के बाद कई नेताओं की जुबानें खुद ही ‘ऑफलाइन’ हो गईं।
अंबेडकर प्रतिमा विवाद: मामला क्या था?
असल झगड़ा कोर्ट परिसर में अम्बेडकर जी की प्रतिमा स्थापना को लेकर है। दो पक्षों में तनातनी है। प्रशासन ने धारा 144 लागू कर दी, भीड़ और कार्यक्रमों पर रोक लगा दी।
इसी बीच, एडवोकेट अनिल मिश्रा के समर्थक सिद्धेश्वर मंदिर पर सुंदरकांड पाठ करना चाहते थे। पुलिस ने सुरक्षा कारणों से इजाज़त नहीं दी। जब उन्होंने सड़क पर टेंट लगाया, तो CSP हिना खान ने टेंट हटवा दिया — और यहीं से भिड़ंत शुरू हुई।
तीन हज़ार जवान तैनात, अफवाह फैलाने पर सख्त कार्रवाई की चेतावनी
IG अरविंद सक्सेना के मुताबिक, सुबह 4 बजे से ही पुलिस फोर्स अलर्ट पर है। 3000 जवान तैनात किए गए हैं।
इस बार पंडाल में ‘रामायण’ नहीं, ‘CRPC की किताब’ पढ़ी जा रही है!
CSP हिना खान: सोशल मीडिया की नई “Sherni”
पिछले 24 घंटे में Twitter (या X), Instagram और Facebook पर हिना खान के नाम की धूम है।
कुछ यूजर्स ने लिखा:
- “ना किसी से डरती हैं, ना किसी से झुकती हैं!”
- “इस देश को ऐसे अफसरों की ज़रूरत है जो यूनिफॉर्म में संविधान लेकर चलते हैं।”
जब धर्म और ड्यूटी की सीमा मिटती है, तो असली लीडरशिप दिखती है
ग्वालियर की यह घटना सिर्फ कानून व्यवस्था की कहानी नहीं है — यह एक मॉडर्न इंडिया की झलक है, जहां एक अफसर अपने धर्म, नाम या पहचान से नहीं, अपने एक्शन से पहचानी जाती है।
CSP हिना खान ने सिर्फ नारा नहीं लगाया, उन्होंने बताया कि वर्दी किसी धर्म की नहीं होती, वो संविधान की होती है।