“Delhi से Dhaka तक बवाल: अवामी लीग के ऑफ़िस पर बांग्लादेश भड़का!”

साक्षी चतुर्वेदी
साक्षी चतुर्वेदी

भारत की राजधानी दिल्ली और कोलकाता में बांग्लादेश की प्रतिबंधित राजनीतिक पार्टी ‘अवामी लीग’ के कथित दफ्तरों की खबरों ने बांग्लादेश सरकार को झकझोर दिया है।
बांग्लादेश के विदेश मंत्रालय ने इसे दो देशों के पुराने रिश्तों के लिए खतरनाक बताया है।

“अवामी लीग की गतिविधियां भारत-बांग्लादेश की दोस्ती और सहयोग को सीधा नुकसान पहुंचा सकती हैं।” — बांग्लादेश विदेश मंत्रालय

बांग्लादेश की चिंता क्या है?

बांग्लादेश ने साफ शब्दों में कहा है:

  • प्रतिबंधित दल अवामी लीग का भारत में दफ्तर खुलना स्वीकार्य नहीं।

  • भारतीय धरती पर बैठकर कोई बांग्लादेश विरोधी गतिविधि होना गंभीर चिंता का विषय।

  • यह बांग्लादेश के लोगों और सरकार का सीधा अपमान है।

बयान में भारत सरकार से तत्काल “कार्रवाई” की मांग भी की गई है।

दो देशों की दोस्ती पर असर?

भारत और बांग्लादेश के बीच हाल के वर्षों में:

  • व्यापार, सुरक्षा, और सीमावर्ती सहयोग में बड़ी प्रगति हुई है।

  • बांग्लादेश ने भारत के लिए कई संवेदनशील मुद्दों पर राजनयिक समर्थन भी दिया है।

ऐसे में अवामी लीग जैसे प्रतिबंधित संगठन की भारत में उपस्थिति को लेकर तीखी प्रतिक्रिया राजनयिक दरार की आशंका पैदा कर रही है।

भारत सरकार की स्थिति?

अब तक भारत सरकार की ओर से इस पर कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है, लेकिन:

  • भारत आमतौर पर किसी भी पड़ोसी देश विरोधी गतिविधि को अपने क्षेत्र से संचालित होने की अनुमति नहीं देता।

  • यह मुद्दा भारत के लिए एक विदेश नीति संतुलन का टेस्ट भी है।

क्या कहता है विशेषज्ञ वर्ग?

विदेश मामलों के जानकारों का मानना है:

“अगर भारत अवामी लीग जैसे संगठन को प्लेटफॉर्म देता है, तो यह बांग्लादेश की अंदरूनी राजनीति में हस्तक्षेप माना जाएगा।”

“यह मामला कूटनीतिक रूप से इतना संवेदनशील है कि दोस्ती के ढांचे को हिला सकता है।

मामूली मामला या कूटनीतिक भूचाल?

अवामी लीग भले ही भारत में बहुत बड़ा संगठन न हो, लेकिन उसकी मौजूदगी का राजनीतिक और कूटनीतिक असर बहुत बड़ा हो सकता है
बांग्लादेश का तीखा बयान भारत के लिए एक संकेत है — कि अगर इस मामले को साफ-साफ हल नहीं किया गया, तो दिल्ली-ढाका रिश्तों में दरार आ सकती है।

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